Kamada Ekadashi 2024: | Kamada Ekadashi 2024: कामदा एकादशी का व्रत क्यों रखा जाता है, जानें इसका धार्मिक महत्व

एकादशी का व्रत आत्मा की शुद्धि और आध्यात्मिक समृद्धि की प्राप्ति में मदद करता है. एकादशी व्रत का पालन करने से कई प्रकार के पापों का प्रायश्चित्त होता है और व्यक्ति पुण्यात्मा बनता है. सभी एकादशी का अपना महत्व है.

कामदा एकादशी व्रत व्यक्ति के पाप धुल जाते हैं और उसके कर्मों का फल शुभ होता है. श्रीहरि की कृपा से उसे हर कार्य में सफलता मिलती है और कामनाओं की पूर्ति होती है.

कामदा एकादशी व्रत व्यक्ति के पाप धुल जाते हैं और उसके कर्मों का फल शुभ होता है. श्रीहरि की कृपा से उसे हर कार्य में सफलता मिलती है और कामनाओं की पूर्ति होती है.

जब कोई व्यक्ति वासना से पीड़ित होता है तो व्यक्ति अच्छे और बुरे के बीच अंतर करने की क्षमता खो देता है. ऐसे पापों से छुटकारा पाने के लिए शास्त्रों में चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी का व्रत करने का प्रावधान है

जब कोई व्यक्ति वासना से पीड़ित होता है तो व्यक्ति अच्छे और बुरे के बीच अंतर करने की क्षमता खो देता है. ऐसे पापों से छुटकारा पाने के लिए शास्त्रों में चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी का व्रत करने का प्रावधान है

कामदा एकादशी व्रत करने से काम, क्रोध, लोभ और मोह जैसे पापों से मुक्ति मिल जाती है. कामदा एकादशी के दिन जो कोई भी सुहागिन महिला व्रत और भगवान विष्णु की पूजा करती है उसे अखंड सौभाग्य का वरदान प्राप्त होता है.

कामदा एकादशी व्रत करने से काम, क्रोध, लोभ और मोह जैसे पापों से मुक्ति मिल जाती है. कामदा एकादशी के दिन जो कोई भी सुहागिन महिला व्रत और भगवान विष्णु की पूजा करती है उसे अखंड सौभाग्य का वरदान प्राप्त होता है.

एकादशी व्रत भगवान विष्णु को समर्पित है, इनकी पूजा से कुंडली में बृहस्पति मजबूत होते हैं और विवाह में आ रही बाधाएं दूर होती है. ऐसे में जिन लोगों की शादी में अड़चने आ रही हैं उन्हें चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की कामदा एकादशी का व्रत करना चाहिए.

एकादशी व्रत भगवान विष्णु को समर्पित है, इनकी पूजा से कुंडली में बृहस्पति मजबूत होते हैं और विवाह में आ रही बाधाएं दूर होती है. ऐसे में जिन लोगों की शादी में अड़चने आ रही हैं उन्हें चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की कामदा एकादशी का व्रत करना चाहिए.

शांताकारं भुजगशयनं पद्मनाभं सुरेशं,विश्वाधारं गगनसदृशं मेघवर्ण शुभाङ्गम्। लक्ष्मीकांतं कमलनयनं योगिभिर्ध्यानगम्यम्, वन्दे विष्णुं भवभयहरं सर्वलोकैकनाथम्॥ - कामदा एकादशी व्रत में पूजा इस मंत्र का जाप करें.

शांताकारं भुजगशयनं पद्मनाभं सुरेशं,विश्वाधारं गगनसदृशं मेघवर्ण शुभाङ्गम्। लक्ष्मीकांतं कमलनयनं योगिभिर्ध्यानगम्यम्, वन्दे विष्णुं भवभयहरं सर्वलोकैकनाथम्॥ – कामदा एकादशी व्रत में पूजा इस मंत्र का जाप करें.

Published at : 19 Apr 2024 07:20 AM (IST)

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